भाजपा प्रदेश महामंत्री चौधरी ने बताया : गलत उत्तर देने वाले अभ्यर्थियों को अधिक या पूरे अंक दिए गए जबकि सही उत्तर पर कम अंक दिए गए हैं
एक जैसे सही उत्तरों के लिए किसी को पूरे अंक तो किसी को कम अंक और उत्तरपुस्तिका में पूरा पेज कोरा छोड़ने के बावजूद पूरे अंक तक दिए गए : चौधरी
रायपुर। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामंत्री ओ.पी. चौधरी ने छत्तीसगढ़ में पीएससी की परीक्षाओं में चल रही धांधलियों को उजागर किया है। इस परीक्षा में धांधली हुई है और इसकी सीबीआई से जाँच कराई जानी चाहिए। ये परीक्षा परिणाम युवाओं के साथ धोखाधड़ी है। श्री चौधरी ने कहा कि कांग्रेस के शासनकाल में छत्तीसगढ़ के युवा भाई-बहनों को जिस तरह की परिस्थितियों का सामना करना पड़ रहा है, वह अत्यंत दु:खद है।
भाजपा प्रदेश महामंत्री श्री चौधरी ने मंगलवार को एकात्म परिसर स्थित भाजपा कार्यालय में पत्रकार वार्ता में कहा कि प्रदेश के लाखों युवा अपने सपनों और माता-पिता व परिजनों की उम्मीदों को आकार देने गाँव-गाँव से प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए बड़े शहरों में आते हैं। इसके लिए परिवार की जमा-पूंजी, खेती-बाड़ी बिक जाती है। श्री चौधरी ने कहा कि कांग्रेस और उसकी प्रदेश सरकार ने उनको भी कहीं का नहीं छोड़ा है। कुल मिलाकर प्रदेश की कांग्रेस सरकार माफियाओं की सरकार है, प्रदेश का कोई भी महकमा बाकी नहीं रहा है, जहाँ माफियाओं का कब्जा नहीं रह गया है। यही माफिया प्रदेश में सरकार चला रहे हैं। इन युवाओं के भविष्य से प्रदेश सरकार लगातार मजाक कर रही है। श्री चौधरी ने कहा कि पीएससी, जो एक संवैधानिक संस्था है, में भी इस कांग्रेस सरकार की कई तरह की विसंगतियाँ व धांधलियाँ सामने आती रही हैं। भाजपा इस मुद्दे पर लगातार सरकार का ध्यान खींच रही है। हाल ही जो पीएससी की परीक्षा के जो परिणाम आए हैं, उसमें भी अनेक निराशाजनक तथ्य सामने आए हैं।
भाजपा प्रदेश महामंत्री श्री चौधरी ने इन तथ्यों पर विस्तार से चर्चा कर बताया कि इस परीक्षा में 8 अंक का एक प्रश्न यह था कि 1857 की क्रांति में वीर हनुमान सिंह के योगदान का वर्णन कीजिए। एक अभ्यर्थी ने उत्तर में हनुमान सिंह की जगह वीर नारायण सिंह लिखा। दोनों ही हुतात्माओं का योगदान हमारे लिए अमूल्य धरोहर है। चूँकि परीक्षा में वीर हनुमान सिंह के बारे में प्रश्न था, इसलिए उत्तर भी उनके बारे में दिया जाना था। उन्हें छत्तीसगढ़ का मंगल पांडे कहा जाता है। लेकिन उस अभ्यर्थी को गलत उत्तर दिए जाने के बाद भी इसमें साढ़े 5 अंक दिए गए जबकि जिस अभ्यर्थी ने वीर हनुमान सिंह के बारे में उत्तर लिखा, उसे सिर्फ 4 अंक दिए गए। श्री चौधरी ने कहा कि इसी तरह गणित के कई प्रश्न गलत रहे या उनके उत्तर गलत दिए गए, फिर भी गलत उत्तर देने वाले अभ्यर्थियों को अधिक या पूरे अंक दिए गए जबकि सही उत्तर पर कम अंक दिए गए हैं। इसके अलावा एक जैसे सही उत्तरों के लिए किसी अभ्यर्थी को पूरे अंक दिए गए तो किसी को कम अंक, और उत्तरपुस्तिका में पूरा पेज कोरा छोड़ने के बावजूद उसमें पूरे अंक तक दिए जाने की बात सामने आई है।